लोगों का मानना है भगवान श्री राम आए थे यहां, इसलिए राम के नाम से जाने जाते हैं रामपुर तिलक गांव को
लालमोहन @पूर्णिया
पूर्णिया जिला मुख्यालय से 50 किलोमीटर पश्चिम बनमनखी अनुमंडल क्षेत्र अंतर्गत जानकीनगर थाना क्षेत्र स्थित रामपुर तिलक पंचायत राम के नाम से जाने जाते हैं लोगों का मानना है कि भगवान राम जब जनकपुर तिलक के लिए जा रहे थे तो इसी गांव होकर गए थे और उस समय से इस गांव का नाम रामपुर तिलक पड़ा है लोगों के बीच भगवान श्री राम से जुड़े और रामपुर तिलक गांव से जुड़े यह रोचक कहानी बना हुआ है। आपको बता दें कि भारत के इतिहास में आगामी 22 जनवरी का दिन सुनहरे अक्षरों में दर्ज किया जाना है यह पल सभी के लिए बहुत ही खास और ऐतिहासिक होने वाला है। सभी राम भक्त इस ऐतिहासिक पल के साक्षी बनना चाह रहे हैं। इसी को लेकर रामपुर तिलक पंचायत के वार्ड नंबर 12 स्थित शिव मंदिर के निकट कई लोग सोमवार को एकत्रित हुए और उन्होंने बताया कि रामपुर तिलक पंचायत राम के नाम से ही जाने जाते हैं ऐसा लोगों का ही मानना है। वास्तव में भगवान राम इस गांव में आए थे या नहीं आए थे इस तरह की वास्तविक किसी भी व्यक्ति द्वारा आज तक नहीं दिया गया है। आगामी 22 जनवरी को अयोध्या में राम मंदिर में भगवान राम विराजमान होंगे। इसलिए रामपुर तिलक पंचायत में भी 22 जनवरी को भव्य कार्यक्रम को लेकर विचार विमर्श किया जा रहा है।शिव मंदिर के निकट उपस्थित व्यक्ति जयप्रकाश महतो, सुशील कुमार दास, छोटू जायसवाल, राकेश कुमार, दीपांकर ठाकुर, राजेश यादव, संजीत कुमार, मणिकांत झा, विजय मंडल, अनिल जायसवाल, मोहीचंद मंडल, मुकेश महतो, शिवम ठाकुर, सौरभ कुमार, नितीश कुमार,पप्पू शर्मा,जयकांत महतो ने जानकारी देते हुए बताया कि रामपुर तिलक पंचायत एक सभ्य पंचायत है और यहां सभी धर्म और सभी कास्ट के लोग मिलजुल कर अपना जीवन यापन करते हैं। मर्यादा पुरुषोत्तम राम भगवान को याद कर कहीं ना कहीं पंचायत वासी एक दूसरे से गले मिलकर एक दूसरे के धर्म को सम्मान करते हुए अपने जीवन यापन करते हैं। साथ ही इन लोगों ने कहा कि हम सभी पंचायत के युवा और पंचायत वासी से आग्रह करेंगे की आगामी 22 जनवरी को अयोध्या मंदिर में जो रामलला का प्राण प्रतिष्ठा है। उसमें हम लोग सभी व्यक्ति से आग्रह करेंगे कि अपने-अपने दरवाजे के आगे में दीपक जलावे और भगवान जय श्री राम का जयघोष करें। वही इन लोगों का मानना है कि रामपुर तिलक सदियों से राम की धरती रही है यह गांव भगवान राम के नाम से जाने जाते हैं, 500 वर्षों बाद पुनः हमारे भगवान श्री राम अयोध्या में भव्य मंदिर में विराजमान होने जा रहे हैं। हमलोग सौभाग्यशाली हैं कि रामपुर तिलक गांव में रहते हैं और इस गांव का नाम लेते हैं तो पहले भगवान राम का नाम लेते हैं। इसलिए 500 वर्षों बाद ऐसा मौका आया है। पहले 14 वर्ष वनवास के बाद भगवान राम वापस आए थे तो हम लोग दीपावली मनाते थे। अब 500 वर्ष से पूर्व बाद अयोध्या में भव्य मंदिर में भगवान राम पधारेंगे। हम लोगों के द्वारा प्रत्येक दरवाजे पर और मंदिर में दीप जलाकर इस कार्यक्रम को भव्य रूप से मनाया जाएगा। इन लोगों ने कहा कि हम लोग बहुत जल्द एक बैठक कर पंचायत में एक झांकी निकालकर लोगों को जागरूक करेंगे और 22 जनवरी को प्रत्येक दरवाजे पर दीपक जलाकर भव्य रूप से इस कार्यक्रम को मनाने का आग्रह करेंगे।
लोगों में एक विश्वास बना हुआ है कि भगवान राम जब तिलक के लिए जा रहे थे जनकपुर तो इसी गांव होकर गए थे
वही रामपुर तिलक गांव के एक शिक्षित 86 वर्षीय बुजुर्ग जयकांत महतो ने बताया कि हमने रामायण का अध्ययन किया और यह रामपुर तिलक गांव का नाम इसलिए रामपुर तिलक पड़ा है क्योंकि इस होकर राम भगवान को विश्वामित्र तिलक के लिए जनकपुर ले जा रहे थे। इसी दौरान इस गांव में राम भगवान ठहरे थे ठहरने के कारण रामपुर और तिलक के लिए जनकपुर जा रहे थे। इसीलिए इस गांव का नाम रामपुर तिलक पड़ा है। उसी समय से यह गांव का नाम रामपुर तिलक राम भगवान के नाम जाने जाते है। हालांकि जैसे जयकांत महतो ने बताया ऐसी बात अन्य बुजुर्गों के द्वारा नहीं बताया गया हैं। लेकिन रामपुर तिलक गांव के लोगों के दिल में राम भगवान बसते हैं इसी को लेकर लोग मानते हैं कि मेरे गांव होकर राम भगवान गए थे लोगों में एक विश्वास है कि मेरे गांव को होकर भगवान गए थे इसलिए मेरा गांव का नाम रामपुर तिलक है और लोग 22 जनवरी को होने वाले अयोध्या में प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम को लेकर लोग के मन में भावना बना हुआ है कि अपने गांव में भी यह कार्यक्रम को अच्छे तरीके से किया जाए।